...

कोलोनोस्कोपी

कोलोनोस्कोपीके टॉप डॉक्टर

कोलोनोस्कोपी एक ऐसा परीक्षण है जिससे किसी व्यक्ति की बड़ी आंत की आंतरिक परत को देख सकते हैं। बड़ी आंत यानी के लार्ज इंटेस्टाइन (Large Intestine) को बृहदान्त्र या कोलन ( Colon)  भी कहा जाता है।

अक्सर, लोगों बृहदान्त्र यानी के कोलन या मलाशय में पॉलीप्स या कैंसर की जाँच के लिए करवाते हैं। बृहदान्त्र यानी के कोलन के अंदर बंने वाले पॉलीप्स, भविष्य में कैन्सर में रूपांतरित हो सकते हैं। यदि आपके कोलन में पॉलीप्स हैं, तो आपले डॉक्टर आमतौर पर उन्हें कोलोनोस्कोपी के दौरान निकाल सकते हैं। यही पॉलीप्स को निकाल लेने से आपके कैंसर होने की संभावना कम हो जाती है। यदि नीचे दिए गए लक्षणों में से कोई भी लक्षण है तो लोगों कोलोनोस्कोपी करवा सकते हैं। कैंसर स्क्रीनिंग परीक्षण किसी भी व्यक्ति को कैंसर होने के लक्षण दिखने से पहले कैंसर को जल्दी खोजने के लिए किए जाते हैं। अक्सर, जो कैंसर जल्दी पाया जाता है, वह छोटा होता है और इसे आसानी से ठीक किया जा सकता है। डॉक्टर बृहदान्त्र कैंसर की जाँच के लिए 5 या 6 विभिन्न परीक्षणों, कैंसर स्क्रीनिंग की लिए उपयोग कर सकते हैं। लेकिन ज्यादातर डॉक्टरों के हिसाब से कोलन कैंसर स्क्रीनिंग के लिए कोलोनोस्कोपी से सबसे अच्छा परीक्षण का तरीक़ा है।

  • डॉक्टरों का सुझाव है कि ज्यादातर लोगों को 50 साल की उम्र होने के बाद कोलन कैंसर की जांच शुरू करवाने लगते हैं। 

    कुछ लोगों के ठोस पारिवारिक इतिहास या कुछ चिकित्सकीय स्थितियों के कारण कोलन कैंसर होने की संभावना साधारण तौर से अधिक रहती है। इन लोगों को कम उम्र से हाई कैंसर स्क्रीनिंग की परीक्षणों शुरू करवा सकते हैं।

यदि इन में से कोई भी लक्षण यदि आपको महसूस होते हैं, तो आपके डॉक्टर कोलोोनॉस्कोपी करवाने को कह सकते हैं:

  • आपके मल त्याग में खून आना
  • आपकी मल त्याग की स्थिति में कोई भी बदलाव
  • एनीमिया नामक एक स्थिति जो आपको थका हुआ और कमजोर महसूस करवा सकती है
  • लंबे समय तक पेट या मलाशय में दर्द जो आप डॉक्टर को समझा नहीं सकते
  • किसी अलग प्रकार के बृहदान्त्र परीक्षण में असामान्य परिणाम मिलना 
  • आपके कोलन में कोलन कैंसर या पॉलीप्स का इतिहास
  • आपके डॉक्टर आपको कोलोनोस्कोपी से पहले क्या करना है, इसके बारे में समझा देंगे। वह आपको बताएँगे कि आप क्या खाद्य पदार्थ खा सकते हैं और क्या नहीं खा सकते हैं। वह यह भी आपको बताएँगे कि क्या आपको अपनी किसी भी सामान्य दवाई, कोलोनोस्कोपी से पहले लेना बंध करनी चाहिए। जैसे ही आप उन्हें प्राप्त करें, दवाई के निर्देशों को सुनिश्चित रीत से अवश्य पढ़ें। परीक्षण से पहले आपको कुछ दवाओं को एक सप्ताह तक लेने से रोकना पड़ सकता है।

    बृहदान्त्र को कोलोनोस्कोपी करने से पहले साफ करने की आवश्यकता होती है। आपके डॉक्टर, आपको एक विशेष पेय देंगे जो पानी से दस्त जैसे जुलाब शुरू करती है। आपके बृहदान्त्र पूरी तरीक़े से साफ है यह सुनिश्चित करने के लिए, आपको यह पेय सम्पूर्ण रूप से पीने की अधिक आवश्यकता और महत्वपूर्ण है। 

    यदि आपका बृहदान्त्र सम्पूर्ण रूप से साफ है, तो आपके चिकित्सक को बृहदान्त्र के अंदरूनी अस्तर पर बहुत ही बेहतर नज़र आएगा। एक स्वच्छ बृहदान्त्र भी आपके कोलोनोस्कोपी के परीक्षण को आसान और अधिक आरामदायक बनाता है। अपने डॉक्टर को बताएं कि क्या आपको अपने कोलोनोस्कोपी करवाने के लिए कोई परेशानी है।

आपके डॉक्टर आपको आराम या विश्रमित महसूस करने के लिए एक दवाई देंगे। फिर वह एक पतली ट्यूब जिसमें प्रकाश और एक कैमरा लगाया हुआ होता है, अंत में आपके गुदा और बृहदान्त्र (आकृति) के अंदर डालेंगे। आपका डॉक्टर पूरे बृहदान्त्र के अंदरूनी परत यानी के टिशू (Tissue) को देखेंगे। प्रक्रिया के दौरान, आपके डॉक्टर बायोप्सी नामक एक परीक्षण कर सकते हैं।

बायोप्सी के दौरान, एक डॉक्टर बृहदान्त्र से ऊतक परत यानी के टिशू (Tissue) का एक छोटा सा टुकड़ा (नमूना) लेंगे। फिर वह एक माइक्रोस्कोप के नीचे उसी ऊतक को देखेंगे कि इसमें कैंसर नज़र आता है या नहीं। आपका डॉक्टर को कोई भी असामान्य विकास जो आपके बृहदान्त्र में देखते हैं, उसे निकाल देंगे। यदि डॉक्टर बायोप्सी लाते हैं या कोई भी असामान्य विकास को हटा देते हैं, तो आप इसे महसूस नहीं करेंगे।

आपके डॉक्टर, आपको कोलोनोस्कोपी के बाद क्या करना है, उसके बारे में सारे निर्देश देंगे। ज्यादातर लोग हमेशा की तरह खा-पी सकते हैं। लेकिन अधिकांश डॉक्टर यह सलाह देते हैं कि, जिस दिन कोलोनोस्कोपी करवायी हो, लोग उस दिनभर काम न करें या काम पर न जाएं। आपके डॉक्टर आपको बताएँगे कि परीक्षण से पहले आपको कौन सी दवाएं लेनी हैं।

यदि आपके कोलोनोस्कोपी के बाद निम्न में से कोई समस्या हो तो तुरंत अपने डॉक्टर को बुलाएँ:

  • पेट दर्द जो गैस के दर्द या ऐंठन से बहुत ज्यादा खराब है
  • एक फूला हुआ और कठोर पेट
  • उल्टी
  • बुखार
  • आपकी गुदा से बहुत खून बह रहा हो

बच्चों और शिशुओं में, ब्ल्डी स्तूल्स (Bloody Stools) का एक लक्षण हो सकता है:

  • बड़े आँतों में या कठोर मल त्याग करते समय (गुदा) एनल फ़िश्यर्स (Anal Fissures) हो।
  • एक ऐसी स्थिति जो दूध या सोया को पचाने में कठिन बनाती है
  • वायरस या बैक्टीरिया से संक्रमण, या फिर फूड पॉइजनिंग
  • पाचन तंत्र को प्रभावित करने वाले रोग
  • खाद्य पदार्थ और दवाएं जो रक्त की तरह दिखती हैं, लेकिन वे होती नहीं हैं (टेबल)

यदि आप अपने बच्चे के डायपर या मल त्याग में रक्त को नोटिस करते हैंतो उसे डॉक्टर को देखने के लिए तुरंत ले जाएं।

Facebook
Twitter
LinkedIn
WhatsApp
Email
Skype
Telegram
Dr. Harsh J Shah

Subscribe to Newsletter